(जनशक्ति खबर) गुरुजी हो जाए सावधान।स्कूल में बच्चे नही आए तो कटेंगे हाजिरी।कभी भी आ सकते है अपर मुख्य सचिव केके पाठक।
जब से अपर सचिव केके पाठक ने शिक्षा विभाग कमान से संभाली है तब से शिक्षा विभाग में सुधार के लिए तरह तरह हथकंडे अपना रहे है। रोजाना कुछ न कुछ फरमार जारी करते है।यू ही स्कूल के निरिछन में निकल जाते है।इस दौरान उनके तरफ से राज्यभर के कई टीचरों पर एक्शन भी लिया जा चूका है। इसके बाद अब पाठक ने राज्य सरकार के बहाल टोला सेवक या शिक्षा सेवक पर सख्ती बरती है। पाठक ने यह आदेश दिया है कि, राज्य के स्कूलों में तय परसेंटेज से कम बच्चे मिलें तो इनके वेतन में कटौती की जाएगी।
दरअसल, शिक्षा विभाग के तरफ से एक आदेश जारी किया गया है जिसमें साफ़ तौर पर यह लिखा गया है कि जिस टोले से विद्यालय में बच्चों की उपस्थिति 90 प्रतिशत से कम रहेगी, उन टोला सेवकों या शिक्षा सेवकों के मानदेय में कटौती की जाएगी। जिसके बाद शिक्षा सेवक सक्रिय हो गए हैं। टोला सेवक लगातार अब घर - घर जाकर बच्चों को स्कूल भेजने का संदेश दे रहे हैं।
मालूम हो कि, टोला सेवकों की नियुक्ति दलित परिवार के बच्चों को शिक्षा के लिए प्रेरित करने के उद्देश्य से की गई थी। अभिभावकों को जागरूक करते हुए बच्चों के पढ़ाने के लिए स्कूलों में नामांकन कराने की जिम्मेदारी टोला सेवकों को दी गई थी। इसके बदले में उन्हें प्रतिमाह 12 हजार रुपए मानदेय दिया जाता है,।
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