(जनशक्ति खबर)दो डॉक्टरों के सहारे चल रहा चौगाईं पीएचसी।
दो डॉक्टर के सहारे चल रहा ओपीडी और इमरजेंसी में मरीजों का इलाज (उपेन्द्र सिंह)
चौगाईं -- गरीबों के बेहतर इलाज के लिए सरकार करोड़ों रुपये पानी की तरह बहा रही है। लेकिन धरातल पर गरीबों को कोई लाभ नहीं मिल पा रहा। चौगाईं प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में पिछले कई दिनों से दो डाक्टर के भरोसे ओपीडी और इमरजेंसी चल रहा है। एक डॉक्टर को तीन दिन दिन रात तैनाती होने से जिले के अला अधिकारी पर सवाल खड़ा होने लग गया है। मात्र एक ही डाक्टर के सहारे पूरा अस्पताल चल रहा है। डाक्टर व स्टाफ नर्सो की तैनाती को लेकर अधिकारी आंखें मूंदे बैठे हैं। मजबूरन मरीजों को निजी डाक्टरों के यहां जाना पड़ता है। आपको बता दे की चौगाईं पीएचसी में पांच डॉक्टर की तैनाती की गई थी। लेकिन डॉक्टर सुनीता कुमार के माँ का तवियत ख़राब होने से पिछले चार माह से छुट्टी पर गई हुई है। जबकि कुमारी स्नेहा और अंकित केशरी एसटीडी यानि ट्रेनिग के लिए चली गई है। जबकि वही एक डॉक्टर की तैनाती अमसारी उप स्वास्थ्य केंद्र पर की गई है।
चौगाईं पीएचसी में दो डॉक्टर के होने के कारण एक डॉक्टर के सहारे तीन दिन अस्पताल में मरीजो का इलाज किया जाता है। लगभग चार प्रखंड क्षेत्र के ग्रामीण बेहतर स्वास्थ्य आते है। इस अस्पताल में हर रोज लगभग दो सौ मरीजो का ओपीडी में इलाज किया जाता है। वही इलाज कराने आये मरीजो ने बताया कि चौगाईं पीएचसी से अब 32 बेड का सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र होने जा रहा है। लेकिन फिर भी या डॉक्टरों की पूर्ण रूप से तैनाती नहीं की जाती है। डॉक्टर के नाम पर केवल खाना पूर्ती होती है। एक डॉक्टर के सहले दो वर्ष पहले छः माह अस्पताल में मरीजो का इलाज किया गया था। जिसमे पीएचसी प्रभारी का काफी तवियत ख़राब होने के बाद यहाँ दूसरे डॉक्टर की तैनाती की गई। मरीजो ने और कहा कि 30 बेड की जगह साठ बीएड का अस्पताल बन जाये। लेकिन डॉक्टर की तैनाती नहीं हुई तो यहाँ आ रहे लोगो का इलाज कवन करेगा। वही जब चौगाईं पीएचसी प्रभारी डॉक्टर मितेंद्र कुमार नव बताया कि पीएचसी में दो डॉक्टर होने की बात जिला में बता दी गई है। लेकिन अब तक कोई दूसरे डॉक्टर की तैनाती नहीं हुई है।
टिप्पणियाँ